तुली लेबोरेटरी और इ.एम.सी अस्पताल के खिलाफ दर्ज मुकमदे की जांच विजिलैंस विभाग या पंजाब हरियाणा हाईकोर्ट के सीटिंग जज से करवाने संबंधी सांसद ने मुख्यमंत्री को लिखा था पत्र
अमृतसर, 11 जुलाई (पवित्रजोत): अमृतसर से लोकसभा सांसद गुरजीत सिंह औजला ने पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह को पत्र लिखकर तुली लेबोरेटरी और इ.एम.सी अस्पताल के खिलाफ विजिलेंस विभाग में दर्ज मुकदमे की जांच अमृतसर पुलिस की बजाए विजिलेंस विभाग या पंजाब हरियाणा हाईकोर्ट के सीटिंग जज से करवाने का अनुरोध किया है। अगर अमृतसर शहर के सांसद को अमृतसर पुलिस की कार्यप्रणाली पर विश्वास नहीं है तो अमृतसर की 20 लाख की आबादी वाली जनता पुलिस विभाग की कार्यशैली पर कैसे विश्वास कर सकती है। उक्त शब्दों का प्रगटावा आम आदमी पार्टी के नेता विशाल जोशी ने जारी प्रैस विज्ञप्ति में किया।
विशाल जोशी ने बताया कि कांग्रेस पार्टी के सांसद का राज्य में कांग्रेस सरकार होने के बावजूद अपने गृह जिला पुलिस विभाग अमृतसर की कार्यप्रणाली पर अविश्वासहीनता प्रकट करना हैरानीजनक है अमृतसर पुलिस जिसने कि लॉकडाउन और कर्फ्यू पीरियड के दौरान काफी सराहनीय काम किया और समय-समय सांसद ने जिला पुलिस की कार्यशैली को सराहा। उन्होने कहा कि आज अचानक से इस केस में ऐसा क्या हो गया जो सांसद का जिला अमृतसर पुलिस से विश्वास उठ गया सांसद महोदय इस अविश्वास संबंधी जनता के साथ अपनी जानकारी सांझा करें जो पत्र सांसद गुरजीत सिंह औजला की तरफ से राज्य के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह को लिखा गया है यह पत्र प्राप्ति के बाद राज्य के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह अमृतसर की जनता का अमृतसर जिला पुलिस पर विश्वास कायम करने हेतु ठोस कदम उठाए क्योंकि सांसद गुरजीत सिंह औजला के इस पत्र से यह साफ स्पष्ट होता है कि सांसदको अमृतसर जिला पुलिस पर बिल्कुल भी विश्वास नहीं। विशाल जोशी ने कहा कि जिला अमृतसर की आम जनता समाजिक संगठनों और राजनीतिक पार्टियों के प्रतिनिधियों का अमृतसर जिला पुलिस प्रणाली पर विश्वास बहाल कराने के लिए कैप्टन अमरिंदर सिंह जनता को संबोधित करें और इस संबंधी अपना स्पष्टीकरण जारी करें अगर समय रहते ऐसा नहीं किया गया तो अमृतसर का प्रत्येक नागरिक अपने हर एक केस की जांच हेतु पंजाब सरकार को अपने केस की जांच अमृतसर पुलिस विभाग की बजाए माननीय पंजाब और हरियाणा हाई कोर्ट के सिटिंग जज से करवाने की मांग करेगा, जिसे पूरा करना पंजाब सरकार के बस की बात नहीं होगी इसलिए समय रहते इस विवाद को हल किया जाए। उन्होने कहा कि पिछले कुछ समय से पंजाब सरकार और ब्यूरोक्रेसी में कुछ अनबन सी चल रही है अब यह अनबन इस स्तर तक पहुंच चुकी है कि सांसद को राज्य सरकार के मुख्यमंत्री को दखल देने संबंधी लिखा जा रहा है लोकतंत्र के लिए यह अच्छे संकेत नहीं है पंजाब सरकार और राज्य के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह इस संबंधी अपनी नीति स्पष्ट करें।